दिन- 44वां, दिनांक- 02.06.2020 , कक्षा-7, विषय-सामाजिक विज्ञान (हमारी दुनिया, भाग-२), पाठ-3, प्रकरण- आंतरिक बल एवं उससे बनने वाली भू-आकृतियां (प्रश्नोत्तर), शिक्षक- राघवेन्द्र कुमार झा।
दिन- 44वां, दिनांक- 02.06.2020 , कक्षा-7, विषय-सामाजिक विज्ञान (हमारी दुनिया, भाग-२), पाठ-3, प्रकरण- आंतरिक बल एवं उससे बनने वाली भू-आकृतियां (प्रश्नोत्तर), शिक्षक- राघवेन्द्र कुमार झा।
दिन- 44वां, दिनांक- 02.06.2020 , कक्षा-7, विषय-सामाजिक विज्ञान (हमारी दुनिया, भाग-२), पाठ-3, प्रकरण- आंतरिक बल एवं उससे बनने वाली भू-आकृतियां (प्रश्नोत्तर), शिक्षक- राघवेन्द्र कुमार झा।
आज की कक्षा में पाठ अंतर्गत अभ्यास प्रश्नों III तथा IV के 1 से 5 तक के प्रश्नों का हल बताया गया।
कक्षा : सप्तम
, विषय:- संस्कृत व्याकरण ( सरल संस्कृत अनुवाद के नियम) अध्यापक:- आचार्य गोपाल जी
आज संस्कृत व्याकरण में सरल संस्कृत अनुवाद के नियम का अध्ययन करेंगे
कक्षा : सप्तम
विषय:- संस्कृत व्याकरण ( तिड़्न्त का संक्षिप्त परिचय और धातु रूप पठ और गम )
अध्यापक:- आचार्य गोपाल जी
आज संस्कृत व्याकरण में तिड़्न्त का संक्षिप्त परिचय और धातु रूप
2 जून 2020 नए विचार और क्विज, के साथ हमने आठवीं वर्ग के सामाजिक विज्ञान में, "धर्मनिरपेक्षता एवं मौलिक अधिकार" शीर्षक के अंतर्गत, धर्मनिरपेक्षता को विस्तृत रूप से जाना । धर्म ग्रंथों के बारे में, जाना, धार्मिक संप्रदायों के बारे में जाना। शैव, वैष्णव, दिगंबर, श्वेतांबर सिया ,सुन्नी ,खालसा, कैथोलिक तथा राज्य और देश में धार्मिक मान्यताएं, धार्मिक भावनाओं का ख्याल रखते हुए धार्मिक रियायतें, किस प्रकार है?
कक्षा :- सप्तम , विषय :- संस्कृत सप्तम: पाठ: दीपोत्सव:
अध्यापक :- आचार्य गोपाल जी
आज की कक्षा की शुरुआत सूक्ति से होगी । उसके बाद पिछली कक्षा का अवलोकन किया जाएगा उसके बाद सप्तम: पाठ: दीपोत्सव:
कक्षा :- सप्तम् ,विषय:- संस्कृत व्याकरण, अध्यापक:- आचार्य गोपाल जी
आज संस्कृत व्याकरण में वर्ण के भेद स्वर वर्ण व्यंजन वर्ण के बारे में विस्तार से अध्ययन करेंगे साथ
जून 2020 दिन सोमवार, प्रेरक विचारों के और क्वीज के साथ, हमने आठवीं वर्ग के सामाजिक विज्ञान में, "धर्मनिरपेक्षता एवं मौलिक अधिकार" शीर्षक के अंतर्गत, धर्मनिरपेक्षता क्या है? धर्मनिरपेक्षता का अर्थ भारत में, धर्मनिरपेक्षता की परिभाषा, भारत में धर्मनिरपेक्षता की आवश्यकता, संविधान में धर्मनिरपेक्षता का महत्व प्रस्तावना में धर्मनिरपेक्षता